अबला के हाथ में रिवाल्वर पुरुष प्रधान समाज से देखा नहीं गया।

अरे भाई क्या हो गया, कौन सा पहाड़ टूट पड़ा, कितना बड़ा सामाजिक नुकसान हो गया, देश समाज की कितनी बड़ी बदनामी हो गई। लेकिन नहीं, तुम एक लड़की हो, तुम ऐसा कैसे कर सकती हो?
अबला के हाथ में रिवाल्वर पुरुष प्रधान समाज से देखा नहीं गया।

अबला के हाथ में रिवाल्वर देखा नहीं गया।

दिवाकर पाण्डेय, मान्धाता प्रतापगढ़

वाह रे पुरुष प्रधान समाज ! बेटी गर्भ में है पता चलने पर उसे गर्भ में ही मार देते हो! तुम किसी बेटी को रिवाल्वर चलाना कहां देख सकोगे।

शादी में दहेज लेना अपराध है, लेकिन जरूर लोगे। तब सारी नैतिकता धरी की धरी रह जाती है। कहते हो यह सदी महिलाओं की है, कोई एक लड़की या महिला जरा सा बराबरी में आए तुरंत समाज के स्वघोषित ठेकेदार नैतिकता का पाठ पढ़ाने लगते हैं।

अभी कल एक वीडियो वायरल हुआ है एक दुल्हन जयमाल से पहले रिवाल्वर चलाती है।

अरे भाई क्या हो गया, कौन सा पहाड़ टूट पड़ा, कितना बड़ा सामाजिक नुकसान हो गया, देश समाज की कितनी बड़ी बदनामी हो गई। क्योंकि तुम एक लड़की हो, तुम ऐसा कैसे कर सकती हो?

मुझे पता है जब तुम कहीं दूर शिक्षा ग्रहण करने जाती थी तब भी रास्ते में, चौराहों पर बाजारों से घूरती नजरों से सहम कर चुपचाप घर वापस आती थी‌‌। कभी-कभी रास्ते में भद्दी टिप्पणी को अनसुना करती थी। घर के लोगों से भी नहीं बताती थी। सारा अपमान सह लेती थी। तब समाज गौरवशाली महसूस करता था।

तुमने तो परंपरा तोड़ दी। ये काम तो पुरुष का है।शादियों में फायर करना, नर्तकी पर पैसे फेंकना। वो कैसे किसी बेटी को ऐसा करते देख चुपचाप कैसे सह लेंगे। कानून का पाठ तुमको पढ़ाया जाने लगा। समाज के सारे बुद्धिखोर तुम पर टूट पड़े हैं। आंख के अंधों को हर जगह कानून का पालन दिखने लगा। बस तुमने अपराध कर दिया।

अच्छा है रानी लक्ष्मीबाई तुम आज के समय में पैदा नहीं हुई। नहीं तो जिस दिन तुम तलवार उठाती, यह बुद्धिखोर तुम्हें जीने ना देते। तुमको तो सिर्फ चूड़ी पहनने का अधिकार बताते। तुमको तलवार उठाना कभी ना देख पाते।

जब तुम हथियार उठाओगे तो तुम्हें जमाने से लड़ना ही होगा। यह समाज सब कुछ देख लेगा, घरेलू हिंसा, बलात्कार, सामाजिक भेदभाव, दहेज, शिक्षा में कमी; लेकिन तुम्हें अपने बराबर नहीं देख सकेगा।

तुम्हारे लिए यह ही क्या कम है कि तुमको गर्भ में कि नहीं मार दिया। तुमने तो बहुत बड़ा अपराध कर दिया है, तुमने रिवाल्वर चला दिया है, इसकी सजा के रूप में बीच चौराहे पर तुमको फांसी होनी चाहिए। ताकि कोई बाप अपनी बेटी को इतनी हिम्मत ना दे सके कि वह प्रतिकार कर सके या प्रतिकार की योग्यता विकसित कर सके।