विधान मंडल का मानसून सत्र आज सोमवार से शुरू होगा। विपक्ष द्वारा हंगामे के आसार।

मानसून सत्र से पहले रविवार को विधान भवन में हुई सर्वदलीय बैठक में विधान सभा अध्यक्ष सतीश महाना ने सदन के सुचारु संचालन में सभी दलीय नेताओं से सहयोग की अपेक्षा की है।
 

विधान मंडल का मानसून सत्र आज सोमवार से शुरू होगा। विपक्ष द्वारा हंगामे के आसार।

डा० शक्ति कुमार पाण्डेय
राज्य संवाददाता
ग्लोबल भारत न्यूज नेटवर्क

लखनऊ, 7 अगस्त।

मानसून सत्र से पहले रविवार को विधान भवन में हुई सर्वदलीय बैठक में विधान सभा अध्यक्ष सतीश महाना ने सदन के सुचारु संचालन में सभी दलीय नेताओं से सहयोग की अपेक्षा की है।

दोनों सदनों में सुबह 11 बजे कार्यवाही शुरू होगी। यह वर्ष 2023 में विधान मंडल का दूसरा और अठारहवीं विधान सभा का पांचवां सत्र होगा। इस सत्र में राज्य सरकार विभिन्न अध्यादेशों के प्रतिस्थानी विधेयक लाएगी।

उप्र शिक्षा सेवा चयन आयोग विधेयक, 2023 समेत कुछ अन्य विधेयकों को पारित कराएगी। मानसून सत्र हंगामाखेज होने के आसार हैं। सत्र के दौरान विपक्ष कानून व्यवस्था, अपराध, महंगाई, निराश्रित पशुओं और किसानों की समस्याओं के मुद्दों पर विपक्ष को घेरने पर आमादा होगा।

विधानसभा अध्यक्ष सतीश महाना ने कहा कि संसदीय व्यवस्था में संवाद और सकारात्मक चर्चा से लोकतंत्र मजबूत होता है। यह देश की सबसे बड़ी विधान सभा है। उप्र विधान सभा की कार्यवाही पूरे देश के विधान मंडलों के लिए एक मानक और आदर्श भी प्रस्तुत करती है। 

उन्होंने सभी दलीय नेताओं से अनुरोध किया कि वे सदन में अपना पक्ष शालीनता व संसदीय मर्यादा के साथ रखें और प्रेमपूर्ण वातावरण में बहस करें।

नेता सदन के रूप में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सत्र के सुचारु संचालन में सत्ता पक्ष के पूर्ण सहयोग का आश्वासन देते हुए कहा कि सदन जनाकांक्षाओं को रखने का महत्वपूर्ण माध्यम है। हमारे दल अलग-अलग हो सकते हैं, लेकिन हमारा दिल एक है, वह है उत्तर प्रदेश।

संसदीय परंपराओं का पालन करते हुए सभी सदस्यों को अपने सुझावों व मुद्दों को सदन में रखना चाहिए। 

सदन को सार्थक चर्चा का मंच बनाएं, जिससे सदन की गरिमा में वृद्धि हो और देश में प्रदेश की अच्छी धारणा बने। उन्होंने सभी को आश्वस्त किया कि राज्य सरकार प्रदेश से जुड़े जनकल्याण के सभी मुद्दों तथा विकास पर चर्चा के लिए तैयार है।

सरकार सभी चर्चाओं में भाग लेते हुए सकारात्मक जवाब देगी तथा सुझावों के अनुुरूप समाधान निकालने का प्रयास करेगी। 

उन्होंने कहा कि विगत सवा वर्षों के दौरान अपने नवाचारों के कारण उप्र विधान सभा की सराहना पूरे देश में हुई है। मानसून सत्र के दौरान हम सबको सदन में अपने आचरण से इस धारणा को और मजबूत करना है।

संसदीय कार्य मंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने सभी दलीय नेताओं को आश्वस्त किया कि सरकार सभी मुद्दों पर सकारात्मक कार्यवाही के लिए प्रतिबद्ध है और वह पूरी गंभीरता के साथ विकास को नई गति देने के लिए कार्य करेगी।

सर्वदलीय बैठक में नेता प्रतिपक्ष अखिलेश यादव की अनुपस्थिति में विधान सभा में सपा के मुख्य सचेतक मनोज कुमार पांडेय शामिल हुए और सत्र के दौरान अपने दल की ओर से सकारात्मक चर्चा और सहयोग का भरोसा दिलाया।

अपना दल (एस) के नेता राम निवास वर्मा, राष्ट्रीय लोकदल के राजपाल सिंह बालियान, सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के ओमप्रकाश राजभर, निर्बल इंडियन शोषित हमारा आम दल के संजय निषाद, कांग्रेस विधानमंडल दल नेता आराधना मिश्रा, जनसत्ता दल (लोकतांत्रिक) के रघुराज प्रताप सिंह, बहुजन समाज पार्टी के उमाशंकर सिंह ने भी सदन के संचालन में अपने दलों की ओर से सहयोग का आश्वासन दिया।

अठारहवीं विधान सभा के ऐसे सदस्य जो अभी तक सदन में मौन रहे हैं, मानसून सत्र में उन्हें भी विधान सभा मंडप में पहली बार बोलने का मौका मिलेगा। 

ऐसे विधायकों की संख्या 39 है। इनमें 23 सदस्य भाजपा, 15 सपा और एक अपना दल (एस) के हैं। सर्वदलीय बैठक में मुख्यमंत्री ने इसे एक सकारात्मक पहल बताया और कहा कि प्रत्येक सदस्य के पास नई सोच होती है। अपनी बात विचारों के माध्यम से व्यक्त करते हैं, तो उससे हमें भावी योजना बनाने में मदद मिलती है।