बचपन से था दोनों भाइयों को थार खरीदने का शौक, लेकिन जेब मे नही थे पैसे

मिनी थार को थार गाड़ी का छोटा रूप बताया जा रहा है। जिसको मोहम्मद सिराज और सूफियान खान ने खुद बनाया है। हुनर एक ऐसी चीज है, जो आपको पैसे के साथ-साथ पहचान भी दिलाता है। अगर आपके पास हुनर हो तो आप कुछ भी हासिल कर सकते हैं।
 
Mini Thar
2 लाख 20 हज़ार रुपए खर्च करके खुद के लिए बना डाली यह मिनी थार

ग्लोबल भारत न्यूज़ नेटवर्क

लखनऊ, 11 अप्रैल:- कहते हैं ना जब हौसले बुलंद हो और खुद पर यकीन तो सब कुछ आसान और मुमकिन होता है। ऐसा ही कुछ इन दोनों भाइयों ने कर दिखाया है, वैसे तो देश में हुनरबाज की कमी नहीं है, लेकिन अपनी राजधानी लखनऊ में भी हुनर की कमी नहीं है। ऐसा ही एक मामला लखनऊ के चिनहट के रहने वाले ई रिक्शा कारीगर ने कर दिखाया है। 6 महीने की मेहनत में दो भाइयों ने मिलकर एक गाड़ी बनाई है इस गाड़ी को दोनों ने मिनी थार का नाम दिया है, दरअसल दोनों को ही कार चलाने का बहुत शौक था, लेकिन जेब में कार खरीदने के पैसे नहीं थे, मगर हौसले में कोई कमी नहीं थी। आज दोनों भाइयों की बनाई हुई मिनी थार को देखने के लिए अब लखनऊ वासियों के साथ साथ कई शहर के लोग भी आ रहे हैं। दोनों भाइयों ने मिलकर ई रिक्शा सर्विस करने की एक छोटी सी दुकान शुरू की। दोनों इसी दुकान से अपना परिवार चलाते हैं, सभी लोगों की तरह इन दोनों को भी कार का बहुत शौक है। दोनों भाई मोहम्मद सिराज और सुफियान खान को हमेशा लगता था कि घर में एक कार होनी चहिए, लेकिन पैसे की कमी की वजह से कार नहीं खरीद पाए।

कार खरीदने के लिए नही थे पैसे- चूंकि कार खरीद नहीं सकते थे इसलिए दोनों भाइयों ने मिलकर खुद की कार बना दी और ऐसी कार बनाई जो जहां से भी निकलती है लोग उसे देखने को मजबूर हो जाते हैं, जिधर जाती एक बार लोग नजर उठा कर जरूर देखते हैं। कद में छोटी है, लेकिन कार का नाम इन्होंने मिनी थार रखा है, जोकि बिल्कुल थार की तरह दिखती है। राजधानी लखनऊ में इन दिनों मिनी थार चर्चा का विषय बनी हुई है। बैटरी संचालित होने वाली मिनी थार को थार गाड़ी का छोटा रूप बताया जा रहा है। जिसको मोहम्मद सिराज और सूफियान खान ने खुद बनाया है। हुनर एक ऐसी चीज है, जो आपको पैसे के साथ-साथ पहचान भी दिलाता है। अगर आपके पास हुनर हो तो आप कुछ भी हासिल कर सकते हैं।

बनाने में लगभग 2 लाख 20 हज़ार रुपए खर्च हुए- सुफियान ने बताया कि मिनी थार को उन्होने 6 महीने के अंदर तैयार किया है और इसे बनाने में लगभग 2 लाख 20 हज़ार रुपए खर्च हुए हैं। इसके प्रोडक्शन में ई-रिक्शा की बैटरी के कुछ पार्टस का इस्तेमाल किया गया है, अक्सर पुलिस द्वारा भी हमारी गाड़ी को रोका जाता है लेकिन फिर पुलिस गाड़ी के साथ सेल्फी लेकर और गाड़ी को जाने देते हैं। पेशे से ई-रिक्शा का काम करने वाले सूफियान और उनके भाई मोहम्मद सिराज ने मिलकर इस गाड़ी को बनाया है। इस मिनी थार में म्यूजिक सिस्टम भी लगाया गया है और ऊपर की ओर लाइट भी हैं। सिराज ने कहा कि यदि कोई और उन्हें ऑर्डर देगा तो वो उसे भी ऐसी ही मिनी थार बना कर दे सकते हैं।