प्रतापगढ़ जिला कारागार का अपर जिला जज एफ०टी०सी०/सचिव ने किया निरीक्षण

जिला कारागार में 1194 बन्दी निरूद्ध है जिसमें 1016 विचाराधीन बन्दी है। इसमें महिला 25 तथा 948 पुरूष एवं किशोर (18 से 21 वर्ष आयु समूह) बन्दियों की संख्या 43 है। सिद्धदोष बन्दियों की संख्या 169 बतायी गयी जिसमें 03 महिला बन्दी व 166 पुरूष बन्दी शामिल है। जेल में निरूद्ध महिला बन्दियों के साथ कुल 05 बच्चे रह रहे है। महिला बैरिक में निरूद्ध 01 महिला बन्दी गर्भवती बतायी गयी।
 
प्रतापगढ़

ग्लोबल भारत न्यूज़ नेटवर्क

प्रतापगढ़, 13 दिसंबर:- उ0प्र0 राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण लखनऊ के दिशा निर्देश एवं जनपद न्यायाधीश/अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण प्रदीप कुमार सिंह के मार्गदर्शन में जिला कारागार का नीरज कुमार बरनवाल अपर जिला जज, एफ0टी0सी0/सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण ने निरीक्षण किया एवं बन्दियों को विधिक रूप से जागरूक किया। निरीक्षण के दौरान जेल अधीक्षक रमाकान्त द्वारा अवगत कराया गया कि जिला कारागार में 1194 बन्दी निरूद्ध है जिसमें 1016 विचाराधीन बन्दी है। इसमें महिला 25 तथा 948 पुरूष एवं किशोर (18 से 21 वर्ष आयु समूह) बन्दियों की संख्या 43 है। सिद्धदोष बन्दियों की संख्या 169 बतायी गयी जिसमें 03 महिला बन्दी व 166 पुरूष बन्दी शामिल है। जेल में निरूद्ध महिला बन्दियों के साथ कुल 05 बच्चे रह रहे है। महिला बैरिक में निरूद्ध 01 महिला बन्दी गर्भवती बतायी गयी। अपर जिला जज द्वारा जिला कारागार में स्थित महिला बैरक, पाकशाला, जेल अस्पताल, लीगल एण्ड क्लीनिक एवं वीडियो कान्फ्रेसिंग रूम सहित जेल परिसर की साफ-सफाई, महिला बन्दियों की तलाशी रूम का निरीक्षण किया गया। प्रत्येक बैरिक में मनोरंजन के लिये टी0वी0 लगी है जो चालू हालत में बतायी गयी। इस अवसर पर जेल अधीक्षक को निर्देशित किया गया कि जिन बन्दियों को अपने मुकदमें की पैरवी हेतु निःशुल्क पैनल अधिवक्ता की आवश्यकता है उनके आवेदन पत्र लिखित रूप में प्राप्त करके उनके आवेदन पत्र रजिस्टर में अंकित करके जिला विधिक सेवा प्राधिकरण कार्यालय को उपलब्ध कराये जिससे बन्दियों को उनके मुकदमें की पैरवी हेतु निःशुल्क अधिवक्ता उपलब्ध कराया जा सके।

इस अवसर पर अपर जिला जज द्वारा जिला कारागार में निरूद्ध बन्दियों को उनके अधिकारों एवं प्लीबारगेनिंग के सम्बन्ध में विधिक जानकारी देते हुये जागरूक किया गया। इस अवसर पर जेल विजिटर विश्वनाथ प्रसाद त्रिपाठी एडवोकेट द्वारा किशोर बन्दियों को उनके विधिक अधिकारों एवं प्लीबारगेनिंग तथा जमानत के सम्बन्ध में विधिक जानकारी देते हुये जागरूक किया गया। निरीक्षण के दौरान उप जेलर द्वारा जानकारी दी गयी कि जेल में निरूद्ध अधिकांश सिद्धदोष बन्दियों की अपील हो चुकी है, जिन बन्दियों की अपील नही हुई है उनके अपील किये जाने हेतु कार्यवाही करायी जा रही है। जेल निरीक्षण के दौरान जेल अधिकारी को निर्देशित किया गया कि जिला कारागार की प्रतिदिन साफ-सफाई कराने, जेल में स्थापित लीगल एण्ड क्लीनिक को नियमित रूप से संचालित करते हुये अभिलेखों को दुरूस्त कराने एवं बन्दियों के बैरकों में सर्दी से बचाव हेतु समुचित व्यवस्था की जाय। जेल अस्पताल के निरीक्षण के दौरान डा0 प्रवीन रंजन व डा0 अरविन्द कुमार सरोज उपस्थित रहे। डा0 प्रवीन रंजन ने बताया कि मानसिक रूप से निरूद्ध एक बन्दी का इलाज लखनऊ में कराया जाना है जिसके लिये कार्यवाही की जा रही है। बीमारी से बचाव के लिये दवा का छिड़काव सभी बैरकों एवं जेल परिसर में कराना सुनिश्चित किया जाये। इस अवसर पर जेल अधीक्षक रमाकान्त, उपजेलर आफताब अहमद अंसारी व सुनील कुमार द्विवेदी उपजेलर उपस्थित रहे।