2017 में लोक निर्माण द्वारा बनाई गई सड़क, जानलेवा गड्ढों में हो गई है तब्दील

सड़क पर जगह-जगह बने गड्ढों में बारिश के दिनों में पानी भर जाने की वजह से इस पर गड्ढों का अंदाजा नहीं मिल पाता। जिसके कारण राहगीर से लेकर आम लोग आए दिन गिरकर चोटिल होते रहते है। जबकि इसकी जानकारी कई बार क्षेत्रीय प्रतिनिधियों सहित विभागीय अधिकारियों को दी जा चुकी है, लेकिन लोगों की समस्या पर कोई ध्यान नही दे रहा है।
 
Pratapgarh

ग्लोबल भारत न्यूज़ नेटवर्क

प्रतापगढ़, 24 सितंबर:- एक समय परियावा बाजार परियावां हैंडलूम टेरी काट के नाम से देश के कोने कोने में जाना जाता था। परियावाँ बाजार का अपना एक अलग ही पहचान और अस्तित्व हुआ करता था, लेकिन अब तो परियावां बाजार की स्थिति ऐसी हो चुकी है कि लोगों को आने जाने में भारी मुसीबतों का सामना उठाना पड़ता है। लखनऊ-प्रयागराज हाईवे स्थित नवाबगंज चौराहा से परियावां लवाना मार्ग जो की लंबाई करीब 15 किलोमीटर की है। इस मार्ग को वर्ष 2017 में लोक निर्माण विभाग द्वारा चौड़ी करण किया गया। इस मार्ग पर एक किलोमीटर की दूरी में बीच-बीच में सीसी रोड बनवा दिया, लेकिन बाकी बची डामर रोड सड़क का पूरी तरह से अस्तित्व खत्म हो चुका है। पूरी सड़क जगह-जगह गड्ढों में तब्दील हो चुकी है। इस रोड पर लगभग दर्जनों स्कूल के बच्चों के वाहनों के साथ ही हजारों की संख्या में आने-जाने वाले राहगीरों का आवागमन होता है। सड़क पर जगह-जगह बने गड्ढों में बारिश के दिनों में पानी भर जाने की वजह से इस पर गड्ढों का अंदाजा नहीं मिल पाता। जिसके कारण राहगीर से लेकर आम लोग आए दिन गिरकर चोटिल होते रहते है।

जबकि इसकी जानकारी कई बार क्षेत्रीय प्रतिनिधियों सहित विभागीय अधिकारियों को दी जा चुकी है, लेकिन लोगों की समस्या पर कोई ध्यान नही दे रहा है। जिसका खामियाजा स्कूली बच्चों के साथ ही आम लोगों को भुगतना पड़ रहा है। जिसे लेकर लोगों को इस बात का भी आक्रोश है कि नेता लोग चुनाव के समय वोट मांगने आ जाते हैं लेकिन चुनाव खत्म होते ही कोई भी बाजार की तरफ आना मुनासिब नहीं समझते। जिसके चलते परियावां बाजार का विकास पूरी तरह से ठप है। पीडब्ल्यूडी के जेई प्रदीप कुमार पटेल से बात हुई तो उन्होंने बताया कि सड़क का रिनुअल ना होने के चलते अभी तक नहीं बन सकी है, एक हफ्ता के अंदर ही सड़क पर काम लगाया जाएगा।

  • पाइकगंज निवासी कौशलेश कुमार का कहना है कि सडक पर जगह-जगह गड्ढे बने हुए है। जिसमें राहगीर आए दिन गिरकर चोटित हो रहे है। सड़क की रिपोयरिंग न होने का खामियाजा ग्रामीणों को भुगतना पड़ रहा है।
  • परियावां बाजार निवासी गौरव कुमार का कहना है कि परियावां से लवाना तक का सफर बुहत ही दुखदाई होता है। अगर किसी काम से घर से लवाना के लिए जाना होता है तो कई बार सोचना पड़ता है। कि आखिर जाएं कि न जाएं। सड़क पर बने गड्ढे बुहत की दुखदायी है।
  • परसई निवासी राहुल का कहना है कि 15 किलोमीटर की सडक जब से बनी तब से अभी तक सड़क पर बने गड्ढों को कभी ही भरा नही गया। जिसके कारण सड़क पर बने गड्ढे बड़े हो गए है उसी गड्ढों में गिरकर राहगीर गिरकर चोटिल हो रहे है लोग अपने गतंव्य पहुंचने से पहले अस्पताल पहुंच रहे है।
  • नवाबगंज निवासी प्रदीप चौरसिया का कहना है कि जब सड़क का चौड़ीकरण हो रहा था तो लोगों में बहुत ही खुशी थी कि आखिर अब लवाना तक का सफर आसान हो जाएगा, लेकिन जब सड़क पर जगह-जगह गड़ढे बन गए तो लोगों के सड़क मुसीबत बन गई है।
  • मुरस्सापुर निवासी सूरज अग्रहरि का कहना है कि उस मार्ग से प्रतिदिन कोई न कोई राहगीर गिरकर चोटिल होता है। इसका कारण सड़क पर बने गड्ढे है जिसकी मरम्मत के लिए कई बार अधिकारियों व क्षेत्रीय जनप्रतिनिधियों से शिकायत की गई, लेकिन किसी का ध्यान उक्त समस्या की तरफ नही जाता। जिसका खामियाजा राहगीरों को उठाना पड़ रहा है।