विधानसभा के सामने आत्मदाह करने वाली महिला की मौत। कांग्रेसी नेता आलोक कुमार गिरफ्तार।
डा. एस. के. पाण्डेय
राज्य संवाददाता
ग्लोबल भारत न्यूज नेटवर्क
लखनऊ, 15 अक्टूबर।
लखनऊ में विधानसभा के सामने खुद को आग लगाने वाली महिला की बुधवार रात मौत हो गई। 90 प्रतिशत झुलसी महिला का इलाज सिविल अस्पताल में चल रहा था। और इस मामले में महिला को उकसाने के आरोप में कांग्रेस नेता आलोक कुमार को गिरफ्तार कर लिया गया है।
कांग्रेस के अनुसूचित प्रकोष्ठ के चेयरमैन आलोक कुमार के खिलाफ पहले ही पुलिस ने आत्मदाह के लिए उकसाने का मुकदमा दर्ज कर लिया था। इसके बाद पुलिस ने आलोक को बुधवार दोपहर गोमती नगर थाने में पूंछतांछ के लिए बुलाया था। फिर महिला की मौत के बाद पुलिस ने उनको गिरफ्तार कर लिया। आलोक कुमार के पिता सुखदेव प्रसाद राजस्थान के राज्यपाल रह चुके हैं।
शाम करीब छह बजे महाराजगंज पुलिस भी लखनऊ आ गई थी। उसने भी बताया कि महाराजगंज में आलोक कुमार ने पीड़िता को आत्मदाह के लिए उकसाया था। उसके कहने पर ही वह अपने पति के घर भी हंगामा करने गई थी।
झारखंड की रहने वाली महिला अंजना तिवारी (जो आसिफ से शादी के बाद आयशा बन गई) ने दूसरे पति आसिफ के घर वालों पर प्रताड़ित करने का आरोप लगाया था। महाराजगंज में शिकायत के बाद भी मदद न करने से नाराज होकर उसने मंगलवार को विधानभवन के सामने खुद को आग लगा ली थी। उसे सिविल अस्पताल में भर्ती किया गया था। डॉक्टरों ने पहले ही उसकी हालत बेहद गम्भीर बता दी थी। बुधवार सुबह से उसकी हालत लगातार बिगड़ती चली गई थी। उसकी मौत की सूचना महाराजगंज पुलिस को भी दे दी गई थी।
मंगलवार रात करीब तीन बजे हजरतगंज पुलिस ने आत्मदाह के मामले में कांग्रेस अनुसूचित प्रकोष्ठ के चेयरमैन आलोक कुमार के खिलाफ एफआईआर दर्ज की थी। फिर कुछ देर बाद ही महाराजगंज पुलिस से इस बारे में जानकारी जुटायी और बुधवार दोपहर उसको हिरासत में ले लिया। उससे कई घंटे तक पूछताछ की गई। महिला की मौत की खबर मिलने के बाद पुलिस ने आरोपी को गिरफ़्तार कर लिया।
आलोक कुमार को गिरफ्तार किए जाने की खबर मिलते ही कई कांग्रेसी हजरतगंज कोतवाली पहुंचे थे। यहां भीड़ बढ़ती देख आलोक को दूसरे थाने भेज दिया गया। उसके समर्थकों को यही बताया जाता रहा कि अभी पूछताछ की चल रही है। इसी तरह महाराजगंज में भी उसके समर्थकों ने वहां के प्रशासन से नाराजगी जतायी।
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार सिंह लल्लू ने सोशल मीडिया पर कहा कि आलोक को इस तरह से पकड़ना निन्दनीय है। सरकार अपनी नाकामी छिपाने के लिए साजिश कर रही है। दलितों का दमन हो रहा है।